नैनवा 12 अक्टूबर शनिवार श्रुतेशसागर जी महाराज के सानिध्य में वर्षा योग समिति के पदाधिकारी द्वारा पत्रिका का विमोचन किया गया जिसमें सैष्टि वर्षा योग समिति उपाध्यक्ष विनोद बरमुंडा 20 पथ समाज के अध्यक्ष कमल कुमार मारवाड़ा महावीर कुमार सरावगी शैलेंद्र जैन मारवाड़ा पारस मोडीका पारस बरमुंडा अशोक हरसोला बाबू बरमुंडा महेंद्र बरमुंडा मोहन जैन मारवाड़ा आदि द्वारा विमोचन किया गया
नैनवा 12 अक्टूबर शनिवार श्रुतेशसागर जी महाराज के सानिध्य में वर्षा योग समिति के पदाधिकारी द्वारा पत्रिका का विमोचन किया गया जिसमें सैष्टि वर्षा योग समिति उपाध्यक्ष विनोद बरमुंडा 20 पथ समाज के अध्यक्ष कमल कुमार मारवाड़ा महावीर कुमार सरावगी शैलेंद्र जैन मारवाड़ा पारस मोडीका पारस बरमुंडा अशोक हरसोला बाबू बरमुंडा महेंद्र बरमुंडा मोहन जैन मारवाड़ा आदि द्वारा विमोचन किया गया
शांति वीर धर्म स्थल प्रातः 6. 30 पर शांति धारा अभिषेक 7:30 पर कल्याण मंडल विधान 8:30 पर मुनि श्री के मंगल प्रवचन दोपहर 1:30 पर महाराज की पूजन महिला मंडल द्वारा शाय काल 7. 30 पर महा आरती
मनुष्य मरने पर शरीर का कोई अंग काम नहीं आता जानवर का शरीर बहुत काम आता है
जैन मुनि श्रुतेशसागर जी महाराज ने धर्म सभा को संबोधित करते हुए बताया प्रत्येक मनुष्य की आत्मा में ज्ञान भरा हुआ है अपनी अंतरात्मा को जाने बिना न तो मुक्ति का मार्ग मिलेगा नहीं मनुष्य परमात्मा बन सकता है अपनी अंतरात्मा का ज्ञान होना बहुत जरूरी बताया
मनुष्य मरने पर जलाया जाता है
कोई भी अंग काम नहीं आता
जानवर घास भुस रुखा सुखा खाकर भी मरने के उपरांत उसका हर अंग काम आता है गाय बैल भैंस बकरी आदि जानवर के मरने के उपरांत जूते चप्पल बेल्ट आदि बनाए जाते हैं हड्डियों से कहीं प्रकार की औषधीयो बनने में काम आती है
मनुष्य का शरीर सात धातुओं से बना हुआ है अस्वस्थ बीमार होने पर स्वयं मनुष्य को अपने शरीर से ही नफरत होने लगती है
ऐसा मुनि ने उद्बोधन में बताया
स्रोत- जैन गजट, 15 अक्टूबर 2024 पर: ------
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2 Comments
James martin
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